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ट्रेन से चुदाई तक का सुहाना सफर

Posted on:- 2023-05-13


नमस्कार मित्रो कैसे आप सब , मेरा नाम पंकज है और मेरी उम्र 27 साल है. दोस्तों में आज आप सभी चाहने वालों को अपनी एक सच्ची घटना बताने जा रहा हूँ और मुझे उम्मीद है कि यह आपको जरुर पसंद आएगी, क्योंकि में इसकी बहुत लम्बे समय से चोदा पेली कहानियाँ पढ़ता आ रहा हूँ और एक दिन मैंने उन्हें पढ़ने के बाद इसको भी आप सभी के सामने लाने के बारे में निर्णय लिया. वैसे यह मेरी पहली कहानी है और अब में वो घटना बताता हूँ. दोस्तों यह बात मेरे कॉलेज के समय की है जब मेरी उम्र करीब 27 तक होगी. फिर एक बार में एक पेसेंजर ट्रेन से अकोला से भोपाल जा रहा था और उस समय में ट्रेन में खिड़की के पास बैठा हुआ था, वो जुलाई का महीना था और बाहर रुक रुककर बारिश हो रही थी और ट्रेन पहले ही अपने समय से थोड़ा देरी से चल रही थी चोदने के बाद थोड़ा रिलेक्स हुआ भाइयो क्या गजब मजा आया .  


 

 चोदा पेली करते समय बहुत मजा आया था दोस्तों फिर मैंने उस समय अकोला स्टेशन से ट्रेन पकड़ी थी, उस समय मेरे सामने वाली सीट पर एक करीब 28 साल की थोड़ी सांवली, थोड़ी मोटी सी लड़की बैठी हुई थी और उसके साथ में उसकी मम्मी भी बैठी हुई थी और उस लड़की का नाम नेहा था. वो अपनी मम्मी के साथ जबलपुर जाने वाली थी और उसके पापा भोपाल में कोई ट्रेन ऑफिसर थे. फिर कुछ देर बाद ट्रेन अपने स्टेशन से थोड़ा आगे निकली और मैंने सही मौका देखकर उससे बातचीत शुरू की, सबसे पहले मैंने उससे पूछा कि आपको कहाँ जाना है? तो उसने मुझे जवाब दिया और कहा कि हमे रतलाम जाना है और फिर हमारी बातें होती रही और अब कुछ देर उसकी मम्मी भी बीच बीच में मुझसे बात करने मज़ाक करने लगी और अब में सीधा अपनी कहानी पर आता हूँ उसके ओठ रसीले थे दोस्तों मॉल गजब था दोस्तों.

 

 उसके लिप्स की चूसै यू ही चलती रही  दोस्तों थोड़ी ही देर बाद उसकी मम्मी को नींद आ गयी और उन्होंने अपना सर नेहा की गोद में रखा और वो सो गई, लेकिन उसके बाद तो मैंने गौर किया कि नेहा एकदम फ्री हो गयी, वो अब मुझसे मज़ाक करती तो कभी कभी अपने पैर से मुझे छेड़ती और हमारा सफर ऐसे ही चल रहा था और कुछ देर बाद बातों ही बातों में उसने मुझसे पूछा कि क्या आपकी कोई गर्लफ्रेंड है? तो मैंने उससे कहा कि नहीं, लेकिन दोस्तों में  दोस्तों वो मदहोस थी चुदाई के लिए  उसके उस एकदम बदले हुए व्यहवार से बहुत आश्चर्यचकित था. फिर वो अब मेरे मुहं से यह बात सुनकर ज़ोर से हंसने लगी और फिर उसने तुरंत अपनी बात को बदल दिया  उसके बूब्स क्या मस्त थे दोस्तों अब मै क्या कहु दोस्तों.

 

 मैंने तय किया की चोद कर ही दम लूंगा  फिर जब में एक स्टेशन पर कचौरी लेने उतरा तो वो भी मेरे पीछे पीछे आ गई और अब उसने जिस तरह से मुझे देखा तो मुझे लगने लगा कि यह अब मुझसे कुछ चाहती है और मैंने उससे थोड़ा और करीब आकर बात करनी शुरू की और में बीच बीच में उसे छूने भी लगा था. फिर में कभी उसके बालो को तो कभी उसके बूब्स को मौका देखकर छूने लगा, लेकिन वो जानबूझ कर इस बात से बिल्कुल अंजान बनती और मज़े लेती. फिर कुछ देर बाद मैंने उसकी चूत पर अपना एक हाथ रख दिया और उसे धीरे से आगे बढ़ाना शुरू किया. तभी उसने तुरंत मेरा हाथ पकड़कर वहां से हटा दिया और फिर वो मुझे बहुत गुस्से से देखने लगी, उसे इस तरह देखकर में समझ गया कि अभी यह तैयार नहीं है. मैंने फिर उससे बात शुरू की और थोड़ी देर बाद वो पहले जैसी हो गई, लेकिन अब कुछ देर बाद उसका स्टेशन आने वाला था और अब उसने मुझसे कहा कि मुझे अब जाना है और फिर उसने मेरी तरफ आँखो से एक इशारा किया और उठकर चली गई. मै चुदाई के लिए बिल्कुल बेताब  था  दोस्तों.

 

 मुझे तो बस चुदाई की धुन सवार थी दोस्तों फिर में तुरंत समझ गया कि वो मुझे दरवाजे के पास बुला रही है और में भी उठकर उसके पीछे पीछे चला गया और मेरे वहां पर पहुंचते ही उसने मुझसे कहा कि आप मुझे बहुत अच्छे लगते हो और आप मुझे आपका मोबाईल नंबर दे दो. फिर मैंने उसे अपना मोबाईल नंबर दे दिया और वो नंबर लेकर अपनी जगह पर चली गई और उसके थोड़ी देर बाद उसका स्टेशन आ गया और वो उतर गई, लेकिन में बैठा बैठा उसे जाते हुए देखता रहा और कुछ घंटो के सफर के बाद मेरा भी उतरने का समय आ गया और फिर में अपने घर पर पहुंच गया और उसके बारे में सोचने लगा, लेकिन उस समय ना जाने क्या सोचकर मैंने उसका मोबाईल नंबर नहीं लिया और कुछ दिन उसके बारे में सोचने के बाद में उसे पूरी तरह से भूल चुका था. करीब एक महीने बाद मेरे मोबाईल पर एक अंजाने से नंबर से एक मिस कॉल आया, लेकिन मैंने उसे नज़र अंदाज़ किया और कुछ देर बार फिर से एक मिस कॉल आया. मुझे बूर की मादक खुसबू आ रही थी जो मुझे पागल कर रहे थे.

 

 दिन रात बस चुदाई ही चुदाई ख्याल दोस्तों और कुछ नहीं फिर मैंने जब उस नंबर पर कॉल किया तो मुझे पता चला कि वो आवाज नेहा की थी और मैंने उससे बात शुरू की और फिर कुछ देर बाद उसने मुझसे मेरी गर्लफ्रेंड के बारे में पूछा और फिर वो थोड़ा सीरीयस हो गई और उसने मुझसे कहा कि मुझे अकेलापन लग रहा है. फिर मैंने कहा कि मेरे होते हुए आप अकेले कैसे? और उसने मुझसे पूछा कि आप मेरे लिए क्या कर सकते हो? मेरा लंड उसकी बूर को चिर कर आगे निकाल रहा था.

 

 फर्स्ट टाइम चुदाई में सील टूटती है तो थोड़ा तो दर्द होगा ही मैंने कहा कि एक बार कुछ माँगकर तो देखो तो नेहा ने कहा कि क्या आप जबलपुर आ सकते हो? मैंने कहा कि हाँ, लेकिन रविवार को तो उसने कहा कि ठीक है. अब में रविवार को दोपहर में जबलपुर पहुँच गया और वो मुझे लेने स्टेशन के बाहर एक्टिवा लेकर खड़ी थी और फिर मैंने उसे हग किया और उससे पूछा कि लेकिन अब हम कहाँ जाएँगे? तो वो बोली कि चुपचाप मेरे पीछे बैठो तुम खुद कुछ देर बाद सब कुछ समझ जाओगे और थोड़ी देर बाद में उसके साथ उनके घर पर पहुंच गया, लेकिन मैंने देखा कि उस समय उसके घर पर कोई भी नहीं था और जब मैंने उससे पूछा तो वो मुझसे बोली कि मम्मी शाम तक आएगी और पापा इस समय भोपाल में है. लंड घुसाने में लग रहा था बस चुत फैट ही जाएगी दोस्तों.

 

 क्या रस भरी चुत थी दोस्तों मजा आ गया फिर में उसके कहने पर जब फ्रेश होकर बाथरूम से बाहर आया तो में उसे देखकर एकदम हैरान रह गया, क्योंकि उसने उस समय अपने कपड़े बदल लिए थे और अब उसने सिर्फ़ सलवार पहनी हुई थी. दोस्तों वो सांवली और थोड़ी मोटी थी, लेकिन क्या मस्त, चोदा पेली लग रही थी? तभी उसने मुझसे पूछा कि क्या तुम कुछ लोगे? तो मैंने तुरंत उससे कहा कि हाँ मुझे नेहा चाहिए और फिर मैंने पीछे से उसे पकड़कर किस किया और उसके बूब्स को ज़ोर ज़ोर से दबाने लगा और अब वो समझ गई कि में भी अब पूरी तरह से तैयार हूँ. लड़कियों की चुत मरने का मजा ही कुछ और है  दोस्तों.

 

 मेरा लंड तनकर टाइट था दोस्तों फिर उसने मुझसे कहा कि अब अंदर चलो, अंदर रूम में जाने के बाद उसने मुझसे कहा कि तुम अब अपने कपड़े उतारो. मैंने तुरंत आगे बढ़कर अपने और उसके दोनों के कपड़े उतार दिये और अब हम दोनों पूरे नंगे थे, वो मुझे किस कर रही थी और में भी उसे पागलों की तरह चूमने चाटने लगा था और कुछ देर बाद हम दोनों बहुत गरम हो चुके थे. फिर मैंने महसूस किया कि उसके बूब्स बहुत बड़े, मुलायम थे, लेकिन उसकी निप्पल एकदम टाईट थी. मेरा लंड चुत में घुसने को तैयार था दोस्तों.

 

 मेरा लंड ताबड़तोड़ चुदाई के लिए तैयार अब मैंने उसे सबसे पहले पीछे से पकड़ा और बस लगातार चूमता ही चला गया. दोस्तों वो क्या लग रही थी? उसकी मोटी मोटी बाहें, वो मुलायम बूब्स, गदराया हुआ बदन, वो बड़ी मोटी गांड, जिसको देखकर मेरी तो हालत ही पतली हो रही थी और वो मानो कितनी दिनों की प्यासी थी, वो मुझे उसकी सिसकियों से पता चल रहा था. अब में उसके बूब्स को कभी मसलता कभी चूसता और वो हाहाआआााआ आऐईईईइ उह्ह्ह्हह्ह की आवाज़ करती. अब वो समय आ गया जब मुझे उसकी चुदाई करनी थी .


 

 दोस्तों वो बुल्कुल मादक शराब जैसी लग रहे थी मन कर रहा अभी पी  लू  तभी थोड़ी देर बाद उसने मुझसे कहा कि इसके आगे कुछ और भी करोगे या सिर्फ़ चूसते ही रहोगे? दोस्तों में उसके इतने गरम और जानदार बूब्स को चूसने में बिल्कुल पागल हो रहा था. मैंने कहा कि थोड़ा इंतजार करो मेरी जान और अब में तुम्हें अपने लंड का जलवा दिखाता हूँ और फिर मैंने उसे बिस्तर पर बिल्कुल लेटा दिया और अब मैंने उसकी प्यासी बैचेन चूत को चूसना, चाटना शुरू किया और वो मेरे ऐसा करने की वजह से और भी गरम हो रही थी और वो अहहहाहा आईईईई स्सीईईईईइ की आवाज़ कर रही थी तो वो कभी कहती कि प्लीज अब बस भी करो छोड़ दो, अह्ह्ह्ह और कभी कहती कि हाँ और ज़ोर से चूसो हाँ थोड़ा और अंदर डालो. अब उसे चुदाई का मजा मिल रहा था दोस्तों.

 

अब मैंने उसकी चूत पर से अपनी जीभ को हटाकर अपने 7 इंच के लंड को चूत के मुहं पर रख दिया और धीरे धीरे ज़ोर लगाकर अंदर की तरफ धकेलने लगा, लेकिन वो अंदर जा नहीं रहा था. फिर मैंने धीरे धीरे उसे वहीं पर थोड़ा आगे पीछे किया और वो ज़ोर ज़ोर से चीखने, चिल्लाने लगी और मुझसे अपने ऊपर से हटने को कहने लगी, लेकिन मैंने उसकी एक भी बात नहीं मानी और अब मैंने थोड़ा इंतजार करने के बाद उसकी कमर को कसकर पकड़ा और एक ज़ोर का धक्का दे दिया और अब मेरा लंड उसकी चूत को चीरता हुआ पूरा का पूरा अंदर चला गया. सच मुझे अब पता चला की चुदाई में कितना मजा है दोस्तों .


 

 इस प्रकार हमने मस्त  चुत की ताबड़ तोड़ चुदाई की और मजा लिया और आप  फिर वो अपने उस दर्द से तड़पने लगी और मुझे धक्का देने लगी, लेकिन मेरी मजबूत पकड़ से नहीं छूट सकी और कुछ देर बाद जब वो थोड़ा शांत होने लगी तो में अपने लंड की स्पीड को धीरे धीरे बढ़ाने लगा. दोस्तों उसकी क्या चूत थी? मैंने महसूस किया कि वो साली एकदम टाईट थी और मुझे धक्के देने में बहुत मज़ा आ रहा था और वो ज़ोर ज़ोर से आहह उह्ह्हह्ह आईईइ माँ में मर गई करती रही में और ज़ोर से उसको धक्के देकर चोदता रहा और अब थोड़ी देर बाद वो झड़ने लगी और में भी और हम दोनों एक एक करके झड़ गए. दोस्तों मैंने उसे करीब तीन चार बार चोदा और फिर हम अलग हो गए और वो अब भी पूरी तरह गरम थी. मेरा लंड ताबड़तोड़ है और एक अच्छी चुत के तलाश में है

 

 उसकी चूची क्या गजब लग रही थी दोस्तों अब मैंने उससे कहा कि मुझे उसकी गांड मारनी है और अब उसने मुझसे साफ मना किया, लेकिन मुझसे रहा नहीं गया और मैंने उसे एक बार फिर से सेक्स करने के लिए कहा तो वो तैयार नहीं थी, लेकिन मेरे बार बार कहने पर वो कुछ देर बाद मान गई और जब मैंने उसे डॉगी पोज़िशन में लिया तो मेरा लंड  उसकी चूची का उभार गगजब था   दोस्तों उसकी गांड में घुस ही नहीं पाया, क्योंकि उसकी चूत की तरह उसकी गांड भी बहुत टाईट और मुझे अपना लंड घुसाने में अपना पूरा जोर लगाना पड़ा और उसकी वजह से वो बहुत ज़ोर से चिल्लाई और मुझसे कहने लगी कि प्लीज आईईईई मेरे साथ ऐसा मत करो उह्ह्हह्ह मुझे बहुत दर्द हो रहा है. उसकी बूब्स क्या मन को मचला रहे थे दोस्तों

 

 मन कर रहा था उसकी चूची पकड़ कर पी जाऊ दोस्तों मैंने फिर से धीरे धीरे से उसकी गांड में पूरा लंड डाल दिया और तेज स्पीड से धक्के देकर चुदाई करने लगा. दोस्तों पहले तो वो रो पड़ी, लेकिन फिर कुछ देर बाद उसे भी मज़ा आने लगा और वो मेरा पूरा पूरा साथ देने लगी, करीब बीस मिनट बाद मेरा वीर्य निकलने वाला था और फिर मैंने अपना वीर्य उसकी गांड के अंदर ही छोड़ दिया. अब हम दोनों एक दूसरे से लिपट कर बेड पर पड़े रहे और एक घंटे बाद जब जागे तो हमने फिर से किसिंग करना शुरू किया. फिर मैंने उससे पूछा कि बोलो नेहा मेरा लंड कैसा है, क्या तुम्हें मेरे साथ चुदाई करने में मजा आया? फिर उसने कहा कि तुम मुझे आज मार ही डालोगे क्या, मुझे बहुत दर्द हुआ है, लेकिन अब में आपके लंड की दीवानी हूँ और तुम जब चाहो मुझे चोदना. 


उसकी चुत का टेस्ट नमकीन और मादक था दोस्तों बस चाटा जाओ फिर मैंने उसे एक बार फिर से लंबा किस किया और एक बूब्स को दबाते हुए काट लिया तो वो शरमाई और उसने भी किस किया और कहा कि अब मेरी मम्मी का आने का समय हो रहा है. फिर मैंने कहा कि ठीक है और फिर उसने मुझे रेलवे स्टेशन तक छोड़ दिया और में ट्रेन में बैठकर अपने घर के लिए निकल पड़ा. दोस्तों उसके बाद भी में उसको तीन बार चोद चुका हूँ और उसने भी अपनी चुदाई में हर बार मेरा पूरा पूरा साथ दिया है. दोस्तों मैंने ऐसी तरह न जाने कितने औरतो और लड़कियों बूर में चोदा पेली किया है और मैं चोदा पेली करने के लिए कही भी और किसी भी हद तक जा सकता हु और तो और मैंने अपने गांव के किसी भी औरत और छोड़ा नहीं है जो नहीं मानती थी उनके साथ जबरजस्ती चोदा पेली किया हु  सोचिये मैं ऐसा हरामी चोदूबीर आदमी हु दोस्तों.

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