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राज और उसकी बीवी के साथ चुदाई

Posted on:- 2023-07-15


नमस्कार मेरे प्यारे साथियो क्या हाल चाल है आपके, मेरा नाम कुंदन है और में बाराबंकी  का रहने वाला हूँ. मेरा लंड 7 इंच का है, दोस्तों में जो कहानी आप लोगों को सुनाने जा रहा हूँ वो मेरी और एक जोड़े की है, जिसमें मैंने उन दोनों पति पत्नी को उनके कहने पर उनके बताई जगह पर जाकर चोदा और उन दोनों के साथ चोदा पेली के बहुत मज़े किए और अब आप लोगों को ज्यादा बोर ना करके में अपनी वो कहानी सुनाता हूँ. अब वो समय आ गया जब मुझे उसकी चुदाई करनी थी.

 मित्रों वो बुल्कुल मादक शराब जैसी लग रहे थी मन कर रहा अभी पी  लू दोस्तों यह बात आज से एक हफ्ते पहले की है. दोस्तों जब में अपनी मैल को खोलकर उसके कुछ मैल को पढ़ रहा था और मेरे पास एक मैल आया. जिसमें लिखा हुआ था कि हम मऊ के रहने वाले है, में और मेरी पत्नी आपसे एक बार अपनी चुदाई करवाना चाहते है. मेरा नाम पुष्पेंद्र  है और मेरी पत्नी का नाम सावित्री है. क्या आप हमारा यह काम कर सकते है? प्लीज हमे जल्दी से जवाब जरुर दें. अब उसे चुदाई का मजा मिल रहा था मित्रों.

 सच मुझे अब पता चला की चुदाई में कितना मजा है मित्रों फिर मैंने उनके मैल का जवाब देकर उनको तुरंत हाँ कह दिया और में बहुत खुश था, क्योंकि मुझे एक बार फिर से चुदाई करने का मौका जो मिलने वाला था और फिर हमने रविवार के दिन मिलने का विचार और उनकी चुदाई करने का प्रोग्राम बनाया उसने कहा कि हम मऊ के पास आ जाएँगे और हम वहां पर एक बिच पर होटल में कमरा बुक करेंगे और वो सारा खर्चा हमारा होगा और हम वहीं पर चुदाई करेंगे और उस होटल का पता आपको हम बता देंगे. फिर मैंने कहा कि हाँ ठीक है. इस प्रकार हमने मस्त  चुत की ताबड़ तोड़ चुदाई की और मजा लिया और आप.

 सुनकर आपका लंड खड़ा हो जायेगा मित्रों फिर रविवार को सुबह 8 बजे में मऊ के रेलवे स्टेशन पहुंच गया और तभी पुष्पेंद्र  का फोन आया और वो मुझसे पूछने लगा कि आप कहाँ है? तब मैंने उसको रेलवे की पूछताछ खिड़की पर बुला लिया. जब वो मेरे पास आए तब वहां पर पहली बार मैंने उन दोनों को देखा. पुष्पेंद्र  की पत्नी थोड़ी मोटी जरुर थी, लेकिन वो बहुत ही गोरी, सुंदर और सेक्सी भी थी उसने उस समय जींस और बिना बाहँ की टी-शर्ट पहनी हुई थी और उसके वाह क्या मस्त बड़े बड़े बूब्स थे? दोस्तों मेरा लंड तो उसको देखकर ही टाइट हो गया और ट्रेन से करीब दो घंटे के लगातार सफर के बाद हम वहां पहुंचे और हमने एक होटल में कमरा बुक करवाया और फिर मैंने और पुष्पेंद्र  ने बरमूडा पहन लिया और सावित्री ने ट्राउज़र और टी-शर्ट पहन लिया और हम पास ही के एक बिच पर चले गये. मेरा लंड ताबड़तोड़ है और एक अच्छी चुत के तलाश में है.

 उसकी चूची क्या गजब लग रही थी मित्रों उसके बाद हम तीनों ही समुंद्र में एक साथ नहाने, मज़े, मस्ती करने लगे और पानी में भीगने की वजह से सावित्री का ट्राउज़र उसकी चमड़ी से एकदम चिपक गया था. जिससे उसके बड़े आकार के बूब्स और बड़ी गांड बिल्कुल साफ साफ दिखाई दे रही थी और जिसको देखकर मेरा लंड तो एकदम तनकर टाइट हो गया और बरमूडा में से साफ दिखाई देने लगा. उसकी चूची का उभार गगजब था मित्रों.

 उसकी बूब्स क्या मन को मचला रहे थे मित्रों पुष्पेंद्र  ने सावित्री को मेरी तरफ इशारा करते हुए कहा कि देखो कुंदन का लंड कितना टाइट हो गया है और वो आकार में पूरा 6 इंच का लगता है? और वो बहुत मोटा भी दिखाई देता है यह तो हमारी उम्मीद से भी ज्यादा दमदार दिख रहा है.

सावित्री ने मेरे लंड की तरफ देखकर पानी में से ही मेरे लंड पर अपना एक हाथ घुमाना शुरू कर दिया और सावित्री ने छूकर महसूस करके कहा कि हाँ वाकई में यह तो बहुत बड़ा मोटा है. फिर पुष्पेंद्र  ने भी मेरे लंड के ऊपर बाहर से कपड़ो के ऊपर से हाथ फिराया और वो बोला कि हाँ यह बहुत मस्त है और हमें बहुत मज़ा आएगा और जैसे ही पानी की एक लहर आई और मेरा लंड सावित्री की गांड को छू गया. फिर वो लंड के उसकी गांड से छूते ही मेरी तरफ देखकर मुस्कुराने लगी और उसके बाद तो में हर एक लहर पर उसकी गांड पर अपना लंड जानबूझकर उसकी गांड से रगड़ देता. मन कर रहा था उसकी चूची पकड़ कर पी जाऊ मित्रों.

 उसकी चूची क्या मुलायम  थी मित्रों अब तो हमारी मस्ती को देखकर पुष्पेंद्र  का लंड भी खड़ा हो गया था और कुछ देर मज़े करने के बाद अब हम तीनों होटल पर चले गये और रूम में घुसते ही सावित्री ने मेरा बरमूडा उतार दिया और उसने बिना देर किए मेरी अंडरवियर को भी उतार दिया और वो मेरे लंड को हाथ में लेकर खेलने लगी और पुष्पेंद्र  ने भी आगे बढ़कर मेरे लंड को हाथ में लिया. उसकी चूची क्या कड़क थी मित्रों.

 उसकी चूची पीते पीते तनकर लाल हो गयी अब मैंने भी तुरंत पुष्पेंद्र  के और सावित्री के कपड़े उतार दिए. जिसकी वजह से अब हम तीनो पूरे नंगे थे, अब सावित्री ने हम दोनों के लंड को अपने हाथ में ले लिए और वो उनसे खेलने लगी. फिर कुछ देर बाद हम तीनों बाथरूम में चले गये और उसके बाद अब पुष्पेंद्र  और सावित्री मेरे पूरे बदन पर साबुन लगाने लगे और दोनों ने मेरी छाती पर उसके बाद मेरे लंड पर साबुन लगाया और मेरे लंड को उन्होंने रगड़ रगड़कर धोया. उसकी चुत का टेस्ट नमकीन और मादक था मित्रों बस चाटा जाओ.

 उसकी बूर मदमस्त हो गयी मित्रों उह उह उह उह फिर मैंने और सावित्री ने पुष्पेंद्र  के बदन पर भी साबुन लगाया और उसके बाद मैंने पुष्पेंद्र  के लंड पर साबुन लगाया और तब मैंने छूकर महसूस किया कि उसका लंड बहुत मुलायम था और फिर मैंने उसके लंड को भी अच्छी तरह से रगड़ रगड़कर धोया. और क्या बताऊ मित्रों मैंने बहुत सी कमसीन जवान और मदमस्त लड़कियों की बूर में चुदाई किया है काफी मजा किया.

 मै एक नंबर का आवारा चोदा पेली करने वाला  लड़का हु मुझे लड़किया चोदना अच्छा लगता है उसके बाद पुष्पेंद्र  ने सावित्री के पूरे सेक्सी बदन पर साबुन लगाया और उस समय में सावित्री के आगे की तरफ से साबुन लगा रहा था और पुष्पेंद्र  उसके पीछे की तरफ से साबुन लगा रहा था. फिर उस समय मैंने सावित्री के बूब्स पर साबुन लगाया और तब मैंने छूकर महसूस किया कि उसके वाह क्या मस्त मुलायम बूब्स थे? में अपने दोनों हाथों में उसके बूब्स को लेकर साबुन से रगड़ रहा था और उनको मसल रहा था और पुष्पेंद्र  पीछे से उसकी गांड पर साबुन लगा रहा था. ये कहानी पढ़ कर आपका लंड खड़ा नहीं हुआ तो बताना  लड खड़ा ही हो जायेगा.

क्या बताऊ दोस्तों  उसको देखकर किसी लैंड टाइट हो जाये मैंने उसकी नाभि पर साबुन लगा दिया और उसके बाद में उसकी चूत पर पहुंच गया और जब में उसकी चूत पर साबुन लगा रहा तो बीच बीच में मेरी उंगली भी उसकी चूत में चली जाती जिसकी वजह से अब सावित्री पूरी तरह से कामुक हो रही थी और उसके मुहं से बड़ी सेक्सी आवाज़ निकल रही थी. वो अह्ह्ह्ह उहह्ह्ह्हह आईईईईई थोड़ा और रगड़ो मुझे वाह मज़ा आ गया और मेरे पूरे बदन को ज़ोर ज़ोर से रगड़ो. दोस्तों क्या मलाई वाला माल लग रहा था.

 चुदाई की कहानी जरूर सुनना चाहिए मजे के लिए अब में और पुष्पेंद्र  हम दोनों ही पूरे जोश में आ गये और हम दोनों उसके पूरे गोरे चिकने बदन पर अपना एक हाथ फेरने लगे और उसको जमकर रगड़ने लगे. अब तो मेरा लंड भी पूरी तरह से तनकर टाइट हो गया था और सावित्री भी मेरे लंड को अपने हाथ में लेकर हिला रही थी और उसके लगातार मुठ मारने की वजह से में बहुत जोश में आ गया और फिर मैंने सावित्री को आगे से अपनी बाहों में भर लिया और पुष्पेंद्र  ने पीछे से उसको कसकर जकड़ लिया था और हम दोनों ही सावित्री के बदन पर अपना बदन रगड़ने लगे अब सुनिए चुदाई की असली कहानी  और सावित्री आवाज़ निकाल रही थी अहह्ह्ह्ह उफ्फ्फफ्फ्फ़ और ज़ोर से रगड़ो मेरी जान अब मुझे बहुत मज़ा आ रहा है और उस समय हम तीनों ही साबुन के झाग से भर गये थे. फिर हमने पानी को चालू किया और अपने बदन पर लगे हुए उस साबुन को निकाल दिया उसके बाद में बदन को साफ करके हम तीनों ही बेडरूम में चले गये. वहा का माहौल बहुत अच्छा था  मित्रों.

 वहा जबरजस्त माल भी थी मित्रों अब मैंने सावित्री को अपनी गोद में उठाकर बेड पर बैठाकर सीधा लेटा दिया उसके बाद मैंने उसकी चूत को चाटना शुरू किया और अपनी जीभ को चूत पर छूकर महसूस किया कि उसकी वाह क्या मस्त, मुलायम चूत थी? में उसकी चूत को अपनी जीभ को अंदर तक डालकर चूसता चाटता रहा, लेकिन तभी मेरा लंड पुष्पेंद्र  ने अपने मुहं में ले लिया और वो मेरा लंड चूसने लगा. ऐसे माहौल कौन नहीं रहना चाहेगा मित्रों.

 उह क्या मॉल था मित्रों गजब दोस्तों में आप सभी को किन शब्दों में बताऊँ कि में उस समय क्या महसूस कर रहा था और मुझे कितना मज़ा आ रहा था? मुझे वाह क्या मस्त जोश भी आ रहा था. अब हम तीनों त्रिभुज में हो गये और फिर सावित्री भी पुष्पेंद्र  का लंड चूसने लगी. फिर कुछ देर तक ऐसे ही मज़े करने के बाद हमने अपनी वो पुरानी पोज़िशन को बदल दिया, जिसकी वजह से अब में पुष्पेंद्र  का लंड अपने मुहं में लेकर चूस रहा था और पुष्पेंद्र  सावित्री की चूत और सावित्री मेरा लंड अपने मुहं में लेकर किसी अनुभवी रंडी की तरह चूसने लगी थी. मेरा तो मन ही ख़राब हो जाता था मित्रों.

 कुछ भी  हो माल एक जबरजस्त था कुछ देर बाद पुष्पेंद्र  ने मेरे लंड पर तेल लगाया और वो मेरे लंड की मसाज करने लगा और उसने मेरा पूरा लंड तेल में कर दिया और फिर उसने अपनी गांड पर भी बहुत सारा तेल लगा लिया. उसके बाद पुष्पेंद्र  ने सावित्री को बेड पर सीधा लेटा दिया और सावित्री के दोनों पैरों को पूरा फैलाकर उसने नीचे खड़े खड़े ही अपना लंड सावित्री की चूत में डाल दिया और मैंने पुष्पेंद्र  का इशारा समझकर अपना लंड पुष्पेंद्र  की गांड में डाला, लेकिन पहले मेरा सिर्फ़ टोपा ही पुष्पेंद्र  की गांड में गया, क्योंकि उसकी गांड बहुत टाईट थी. उसको देखकर  किसी का मन बिगड़ जाये.

 उह भाई साहब की माल है उसकी चुत की बात ही कुछ और है फिर तभी पुष्पेंद्र  ने मुझसे कहा कि तुम आज मेरे इस दर्द की बिल्कुल भी चिंता मत करो और मेरी इस गांड में अपना पूरा लंड डाल दो और फाड़ दो मेरी गांड को और मेरी जमकर चुदाई करो. अब में उसकी बातें सुनकर जोश में आ गया और मैंने एक ज़ोर से धक्का दिया जिसकी वजह से और पूरा 6 इंच का लंड अब पुष्पेंद्र  की गांड में पूरा चला गया. ओह्ह उसके यह का चुम्बन की तो बात अलग है.

 है उसके गांड मेरा मतलब तरबूज क्या गजब भाई तभी पुष्पेंद्र  का लंड भी सावित्री की चूत में पूरा चला गया और अब तो में भी ज़ोर ज़ोर से धक्के देकर पुष्पेंद्र  की गांड मारने लगा और अब सावित्री भी मुझसे कह रही थी कि हाँ कुंदन तुम और ज़ोर धक्का लगाओ आह्ह्हह्ह तुम्हारे धक्के से इनका लंड मेरी चूत में बहुत अंदर तक जा रहा है. वाह मुझे बहुत मज़ा आ रहा है उफफ्फ्फ्फ़ हाँ ज़ोर से लगाओ धक्के और अब में ज़ोर ज़ोर से धक्के लगाने लगा. उसका भोसड़ा का छेड़ गजब का था मित्रों.

 उसकी बूब्स  देखते ही उसको पिने की इच्छा हो गयी पुष्पेंद्र  कुछ देर बाद अपने लंड को सावित्री की चूत से बाहर निकालकर उसके मुहं में डालकर झड़ गया और उसने अपना पूरा वीर्य सावित्री के मुहं में डाल दिया जिसको सावित्री चाट गई और अब मैंने सावित्री को डॉगी स्टाइल में बैठाया और उसके पीछे जाकर उसकी चूत में अपना पूरा लंड डाल दिया और उसकी चुदाई करने लगा, जिसकी वजह से अब तो सावित्री पूरे जोश में आ गयी थी और वो बोल रही थी हाँ मेरी जान पूरा अंदर तक डाल दो आज तुम मेरी इस चूत को फाड़ दो यह मुझे बहुत सताती है तुम आज इसकी पूरी खुजली को मिटा दो अहह्ह्ह्ह उहह्ह्ह्ह आईईईई हाँ और ज़ोर से चुदाई करो. अब वो मेरे ऊपर चड़ गयी और धीरे धीरे ऊपर नीचे होने लगी. मित्रों मै सबसे पहले उसकी गांड मरना चाहता हु.

 उसको पेलने की इच्छा दिनों से है मित्रों शायद करीब आधे घंटे के बाद वो झड़ गयी और उसके बाद मैंने भी अपना वीर्य उसके कहने पर उसकी चूत से अपने लंड को बाहर निकालकर उसके मुहं में डाल दिया. जिसको सावित्री ने बड़े मज़े ले लेकर चूस लिया और पूरा का पूरा वो नीचे गटक गई.. मित्रों मेरा तो मानना है जब भी चुत मारनी हो बिना कंडोम के ही मारो तभी ठीक नहीं सब बेकार मित्रों मुझे तो कभी कभी चुत के दर्शन मात्र से खूब मजा आता क्योकि मई पहले बहुत बार अपने मौसी के लड़की  को बिना पैंटी के देखा था  वाह क्या मजा आया था दोस्तों क्या रास भरी चुत थी पेलने  के लिए लंड  उतावल हो रहा था.

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