मुख्य पृष्ठ » चुदाई की कहानी » पापा के दोस्त के बेटे के साथ चुदाई


पापा के दोस्त के बेटे के साथ चुदाई

Posted on:- 2021-07-16


क्या हाल चाल दोस्तों कैसे है आप सब आशा है अच्छे होंगे और चुदाई के जुगाड़ में होंगे, मेरा नाम कामिनी है और में 26 साल की हूँ. मेरा फिगर 33-28-34 है. ये कहानी मेरे साथ सच में हुई एक घटना पर है. जब मेरे पापा के एक फ्रेंड के बेटे ने मुझे ज़बरदस्ती चोदा था, उनका नाम शेखर है और वो पंजाब रहते है और अब उनकी शादी भी हो गई है.

चुदाई की कहानी जरूर सुनना चाहिए मजे के लिए ये बात कुछ साल पहले की है, जब में 9वीं क्लास में थी और अपनी फेमिली के साथ पंजाब गई थी, वहाँ हमारे रहने का इंतज़ाम शेखर के घर पर हुआ था, क्योंकि उस टाईम वो वहाँ 2 रूम लेकर अकेले रहते थे और पढ़ते थे. फिर शेखर हमें लेने रेल्वे स्टेशन आ गये थे और पूरा दिन हमारे साथ पंजाब में घूमे थे और मुझसे भी बहुत बातें की थी. अब बात-बात पर वो मुझे हग करते थे और मेरे गालों पर किस करते थे और मुझे भी अच्छा लग रहा था. में उस टाईम सेक्स क्या होता है? नहीं जानती थी, किसके कहाँ टच करना ठीक है? कहाँ नहीं? कुछ पता नहीं था? वहा का माहौल बहुत अच्छा था.

ऐसे माहौल कौन नहीं रहना चाहेगा दोस्तों  फिर रात को डिनर करने के बाद में बाथरूम से हाथ धोने के बाद टावल ढूंढ रही थी तो शेखर टावल लेकर आए और खुद मेरा हाथ पोंछने लगे. फिर अचानक से टावल मेरे हाथ में दे दिया और मेरे बूब्स को धीरे-धीरे टच करने लगे, लेकिन तब मैंने बिल्कुल इग्नोर कर दिया था कि क्या हो रहा है? फिर उसी रात हमारी बस रही तो हम सब बस स्टैंड आ गए. मेरा तो मन ही ख़राब हो जाता था दोस्तों.

 उसको देखकर  किसी का मन बिगड़ जाये  अब बस चलने में 20-25 मिनट थे तो मम्मी, पापा बाहर ही खड़े थे और में बस में बैठी थी. फिर थोड़ी देर के बाद शेखर बैग देखने के बहाने बस में आए, जो मेरे पैरो में रखा था. फिर उन्होंने मुझे दबा दिया और दूसरे हाथ से ज़ोर-ज़ोर से मेरे बूब्स मसलने लगे. अब में उस टाईम थोड़ी घबरा गई थी और उनसे डरने लगी थी. अब बिना चुदाई के रह नहीं सकती थी दोस्तों मै पागल सी हो गयी.

मै चुदाई के बारे और कुछ जानना चाहती  थी फिर 6  साल के बाद हम फिर पंजाब आ गये थे, तब तक में 1st ईयर में आ गई थी और शेखर भी पंजाब में ही जॉब करने लग गये थे. हम इस बार होटल में रुके थे, होटल शेखर ने ही बुक कराया था. उन्होंने 2 रूम बुक कराये थे, एक रूम मम्मी पापा ले लिए और एक मेरा और मेरे भाई ले लिए. अब में शेखर को देखते ही डर गई थी, लेकिन अब मेरी समझ में सब आ गया था कि सेक्स क्या होता है? और उस टाईम शेखर ने मेरे साथ क्या किया था? सेक्स करते समय बहुत मजा आया था दोस्तों.

 चोदने के बाद थोड़ा रिलेक्स हुआ भाइयो क्या गजब मजा आया में उनसे दूरी बनाने लगी थी और उनसे कम बोलती थी. अब ये बात उन्हें पता लग गई थी. अब हम तीन दिन तक पंजाब रुकने वाले थे और यहाँ हम किसी की शादी अटेंड करने आए थे. अब एक दिन शादी का प्रोग्राम अटेंड करने के लिए मम्मी पापा दोपहर में चले गये थे और शादी रात की थी तो में और भाई होटल ही रुक गये थे. अब भाई को नींद आ रही थी तो वो सोने चला गया था और में मम्मी के रूम में टी.वी देख रही थी. उसके ओठ रसीले थे दोस्तों मॉल गजब था दोस्तों.

 उसके लिप्स की चूसै यू ही चलती रही  दोस्तों फिर थोड़ी देर के बाद डोर बेल बजी तो मैंने देखा कि शेखर आए हुए है. अब में उन्हें देखते ही अजीब सी सिरहन और डर गई. फिर मैंने खुद को संभाल कर बोला कि पापा मम्मी तो नहीं है, तो बोले कि अच्छा में तो तुमसे और तुम्हारे भाई से मिलने आया हूँ. मैंने कहा कि भाई सो रहा है और में भी सो रही थी. फिर वो जबरदस्ती रूम के अंदर आ गये और बोले कि पानी तो पिला दो, तो में पानी लेने अंदर गई तो वो रूम लॉक करके अंदर आ गये और सोफे पर बैठ गये. दोस्तों वो मदहोस थी चुदाई के लिए.

 मेरा मन चुदाई का था दोस्तों  अब में डरी हुई थी और फिर में पानी लेकर गई, तो वो बोले कि पढाई कैसी चल रही है? तो मैंने कहा कि ठीक चल रही है. फिर वो बोले कि आजकल तुम बहुत कम बोलती हो, तो मैंने कुछ नहीं कहा और अब में चुपचाप खड़ी रही. फिर वो बोले कि मम्मी पापा कब तक आयेंगे? तो मैंने कहा कि पता नहीं शायद लेट हो जाए. फिर वो बोले कि में इंतजार कर लेता हूँ, ये सुनकर मेरे होश उड़ गये. फिर मैंने भी कहा कि ठीक है और कहकर बेड पर आकर टी.वी देखने लग गई, अब मेरा टी.वी पर ध्यान कम और उन पर ज्यादा था. मैंने तय किया की चुदाई करा  ही दम लु.

 मै अपनी चुदाई खुद जान बूझकर करवाना चाहती थी फिर वो बोले कि क्या देख रही हो? तो मैंने कहा कि कुछ नहीं ऐसे ही चैनेल चेंज कर रही हूँ. फिर वो खुद भी बातें करते हुए बेड पर आ गये और चैनेल चेंज करने लगे, तो एक चैनेल पर रोमांटिक सीन आ रहा था, तो वो उस पर रुक गये. अब मुझे अच्छा नहीं लग रहा था, तो मैंने कहा कि में सोना चाहती हूँ आप इंतजार करो, में भाई के पास जा रही हूँ और उठने लगी. मै चुदाई के लिए बिल्कुल बेताब  थी  दोस्तों .

 मुझे तो बस चुदाई की धुन सवार थी दोस्तों  फिर जैसे ही में दरवाजे के पास आई तो वो भी मेरे पीछे आ गये और मुझे कसकर पकड़ लिया. अब मेरा हाल ऐसा था कि जैसे अब में बेहोश हो जाउंगी. अब में पूरी तरह से घबराई हुई थी. फिर मैंने कहा कि आप ये क्या कर रहे हो? तो वो बोले कि अब तुम बड़ी हो गई हो और सब समझने भी लगी हो, तो ये नहीं समझ सकती क्या? फिर वो मुझे लिप किस करने लगे. अब में छटपटा रही थी और जाना चाहती थी, तो उन्होंने मुझे बेड पर लेटा दिया और खुद मेरे ऊपर आ गये और किस करने लगे थे. दिन रात बस चुदाई ही चुदाई ख्याल दोस्तों और कुछ नहीं .

 सच कहु तो वो चुदाई तो तरस रही थी फिर उन्होंने लिप किस रोका, तो मैंने बोला कि मुझे जाने दो प्लीज, तो वो नहीं माने और फिर से लिप किस करने लगे और अब एक हाथ से मेरे बूब्स भी मसल रहे थे. अब में अपने हाथ पैर पटकने लगी थी, लेकिन उनकी पकड़ बहुत मजबूत थी. फिर मैंने मुश्किल से खुद का चेहरा दूसरी साईड में किया और बोली कि पापा मम्मी को आपका पता लगेगा तो कैसा लगेगा? प्लीज़ मुझे जाने दो. अब में रोने लगी थी. उसकी आखो में चुदाई का नशा था.
 

 फर्स्ट टाइम चुदाई में सील टूटती है तो थोड़ा तो दर्द होगा ही  फिर वो बोले कि उनको बतायेगा कौन? तुम, तो मैंने कहा कि हाँ, तो वो बोले कि तुम नहीं बताओगी, ऐसी कोई बात बतानी थी तो 5 साल पहले ही बता देती और ये बात सच भी थी. में डर और शर्म की वजह से चुप रही. फिर उन्होंने मेरी ब्रा खोल दी थी और शर्ट पूरी ऊपर कर दी थी और वो मेरी जांघो को स्कर्ट के ऊपर से मसलने लगे थे. अब में रो रही थी कि प्लीज़ मुझे जाने दो, लेकिन उन्होंने मेरी एक ना सुनी और अपना काम करते जा रहे थे. अब उन्होंने मेरी स्कर्ट और टॉप दोनों को उतार दिया था. लंड घुसाने में लग रहा था बस चुत फैट ही जाएगी दोस्तों.
 

 चुची की चुसाई में क्या मजा है दोस्तों  अब उन्होंने मेरी ब्रा तो पहले ही खोल दी थी और अब में उनके सामने पेंटी में थी. फिर वो बहुत देर तक मेरे बूब्स को चूसते रहे और एक हाथ से मेरी पेंटी के ऊपर रब करते रहे. अब पहले में अपने आपको छुड़वाने के लिए छटपटा रही थी, लेकिन अब बाद में मुझे भी अच्छा लगने लगा था. अब मैंने भी छूटने की कोशिश करना बंद कर दिया था और अब उनका साथ देने लगी थी. फिर वो धीरे-धीरे नीचे आए और मेरी चूत को पेंटी के ऊपर से ही किस करने लगे. अब वो समय आ गया जब मुझे उसकी चुदाई करनी थी.
 

 अब उसे चुदाई का मजा मिल रहा था दोस्तों  अब उनके ऐसा करते ही में मचल गई. फिर उन्होंने बहुत देर तक ऐसे ही मेरी पेंटी के ऊपर किस किया और मेरी पूरी पेंटी गीली कर दी. फिर उन्होंने मेरी पेंटी खोली और मेरी गीली चूत को चाटने लगे उूउउम्म्म्मममम, अब मुझसे भी रहा नहीं जा रहा था अब मुझे बहुत अच्छा लग रहा था. फिर उन्होंने अपनी पेंट और अंडरवियर उतारा. उनका लंड 7 इंच लंबा और मोटा था. सच मुझे अब पता चला की चुदाई में कितना मजा है दोस्तों.
 

 इस प्रकार हमने मस्त  चुत की ताबड़ तोड़ चुदाई की और मजा लिया और आप  अब में उसको देखकर फिर से घबरा गई थी और उन्हें मना करने लगी थी, लेकिन उन्होंने मेरी एक नहीं सुनी थी. अब वो मेरे ऊपर आ गये और एक बार फिर से लिप किस करने लगे और किस करते-करते एक झटका दिया आआअहह. तो अब में चाह कर भी चीख नहीं पाई और उनका आधा लंड मेरी चूत में चला गया था. अब में संभल भी नहीं पाई थी कि उन्होंने एक झटका और दिया. अब उनका पूरा लंड मेरी चूत में चला गया था. अब मुझे कितना दर्द हो रहा था कि में बता भी नहीं सकती हूँ. उसकी बूर मदमस्त हो गयी दोस्तों उह उह उह उह उसके लिप्स की चूसै यू ही चलती रही  दोस्तों   अब मेरी चूत में खून भी आ गया था और ये मेरा पहला सेक्स अनुभव था. अब शेखर धीरे-धीरे आगे पीछे होने लगे और कुछ देर के बाद मेरा दर्द भी कम हुआ और मुझे भी मजा आने लगा. अब में भी मौन करने लगी उूउउम्म्मम और अब शेखर ने अपनी स्पीड तेज कर दी थी आअहह. फिर थोड़ी देर के बाद  मैंने तय किया की चुदाई करा के ही दम लेना है दोस्तों हम दोनों झड़ गये और शेखर मुझे किस करके मुझसे चिपक कर वहीं सो गया. फिर 1 घंटे के बाद हम दोनों उठे और रूम का सब कुछ ठीक किया और शेखर वहाँ से चले गये. जो हुआ दोस्तों वो बहुत मजेदार था चुदाई मैंने कराई मजा आ गया आप भी करो कोई अच्छा लड़का देखकर.

What did you think of this story??






अन्तर्वासना इमेल क्लब के सदस्य बनें


हर सप्ताह अपने मेल बॉक्स में मुफ्त में कहानी प्राप्त करें! निम्न बॉक्स में अपना इमेल आईडी लिखें, फिर ‘सदस्य बनें’ बटन पर क्लिक करें !


* आपके द्वारा दी गयी जानकारी गोपनीय रहेगी, किसी से कभी साझा नहीं की जायेगी।